वरिष्ठ अधिकारी थाना पंहुच वार्ता कर मामला को सलटाया
पूर्वांचल राज्य ब्यूरो, वाराणसी (अजय कुमार चौबे)
रामनगर/वाराणसी। पडाव से रामनगर सड़क चौड़ीकरण मामले में दुसरे दिन भी आक्रोशित जनता ने सड़क जाम कर मुआवजा का मांग पर डटे रहे। लोगो का आरोप था की राममूरत प्रजापति का मकान तोड़ने के कारण सदमा मे मौत हुई है। जबकी कुछ लोगो ने अफवाह फैलाया की मकान के मलवा में दबकर मौत हुई है। जबकी प्रशासन ने इस आरोप का खंडन किया है। इधर सड़क जाम कर रहे लोगो से वाराणसी के एडिशनल एसपी मनीष शान्डिल्य सहित कई अन्य आईपीएस एवं जिला के सक्षम अधिकारी,लोक निर्माण विभाग के अधिकारियो ने आज दुसरी दौर की वार्ता कर निर्णय निकाला ।तथा लोगो को आश्वासन दिया की अब बिना मुआवजा दिये किसी का मकान नहीं तोड़ा जाएगा। गुरुवार को पी डब्लू डी की पैंतीस लोगों की टीम पहुंचकर सबका नापी करेगी और यहीं पर मुआवजा का सूची सौपी जाएगी। और संभवत शुक्रवार या शनिवार तक तक सभी खाते में राशि भेज दी जाएगा। तभी मकान तोड़ा जाएगा।
प्रशासनिक अधिकारी ने प्रेस विज्ञप्ति जारी कर स्वाभाविक मौत बताया....
रामनगर बाजार निवासी राममूरत प्रजापति का मौत अपने घर पर ही स्वाभाविक मृत्यु हुई है। पीडब्ल्यु डी के स्कूटीव इंजीनियर के के सिंह ने प्रेस विज्ञप्ति जारी कर बताया की प्रशासन ने इनके भवन को किसी भी प्रकार की क्षति नहीं पहुचाई गई है।रामनगर बाजार में मलबे में दबने से मृत्यु की अफवाह फैलाई गई है, जो कि निराधार है। इस संबंध में एग्जीक्यूटिव इंजीनियर ने स्पष्ट करते हुए बताया कि इनकी उम्र लगभग 70 वर्ष से अधिक थी, एवं 09 जनवरी को अपने घर पर ही स्वाभाविक मृत्यु हुई है। वर्तमान में इनके भवन को किसी भी प्रकार की क्षति नहीं पहुचाई गयी है।
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