बीएसए से मुलाकात कर सौंपा ज्ञापन, समस्याओं के जल्द निस्तारण की उठायी मांग
ललितपुर। शिक्षकों की विभिन्न समस्याओं का निस्तारण किये जाने की मांग को लेकर उत्तर प्रदेशीय जूनियर हाईस्कूल (पूर्व माध्यमिक) शिक्षक संघ के पदाधिकारियों ने अध्यक्ष मो.मुनीर व महामंत्री राजेश कुमार साध के संयुक्त नेतृत्व में एक ज्ञापन जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी रामपाल सिंह को सौंपा है। ज्ञापन में बारह सूत्रीय मांगों को लेकर संघ के शिक्षकों ने बीएसए को अवगत कराया कि राजाज्ञा सं. 6369/15-5-93-55-89 शिक्षा अनुभाग 5 लखनऊ एवं संशोधित राजाज्ञा संख्या 289/79-6-4-28 दिनांक 04-02-2004 में दी गई व्यवस्था अनुसार बेसिक शिक्षा परिषदीय शिक्षकों द्वारा 60 वर्षीय आयु में सेवानिवृत्ति का विकल्प दिया गया है। संबंधित अधिकारी/ खंड शिक्षा अधिकारी 60 वर्षीय विकल्प पत्र प्राप्त कर अपने सक्षम अधिकारी को भेजने का कष्ट करें। जिससे ग्रेच्युटी का लाभ मिल सके। अन्य विभागों और समस्त अस्थाई ड्यूटियाँ निरस्त की जाए। जिससे छात्र हित हो सके। कंपोजिट ग्रांट का ऑडिट वर्ष में बार-बार होने के बाद,आपके दुवारा शिक्षकों को अनावश्यक परेशान न किया जाए। बीएसए द्वारा विद्यालय में निरीक्षण सकारात्मक दृष्टिकोण को ध्यान में रखकर किए जाएं। विभाग द्वारा निरीक्षणों मेंं बिना स्पष्टीकरण प्राप्त किये जो कार्यवाही प्रस्तावित की गई है वह निरस्त की जाए। शिक्षकों के मान सम्मान का विशेष ध्यान रखा जाए। एनईटी परीक्षा की ओ.एम.आर.सीट की गुणवत्ता अच्छी रखी जाए जिससे स्कैन होने में परेशानी ना आए। कोविद-19 काल में जिन शिक्षकों ने ड्यूटियां की है। उनके उपार्जित अवकाश बीएसए के आदेश होने के बाद भी आजतक सर्विस बुक व मानव संपदा पोर्टल में अंकित नहीं किए गए हैं। जिनको अति शीघ्र दर्ज किया जाए। पीएफएमएस में कुछ विद्यालयों की धनराशि का उपयोग विद्यालय के विकास कार्यों में नहीं हो पाया था। वह धनराशि बगैर उपयोग के वापस हो गयी। ऐसी धनराशि को विद्यालयों के खातों में वापस भिजवाने का कष्ट करें। विद्यालयों में छात्रों की उपस्थिति हेतु देशकाल परिस्थिति भी जिम्मेवार होती है। सीधे शिक्षकों को दोषी मानकर कार्यवाही प्रस्तावित ना की जाए। बच्चों की उपस्थिति त्यौहार, लोकल तीज त्यौहार, मेला आदि प्रभावित करते हैं। एआरपी विद्यालय में सकारात्मक अनुश्रवण शासन द्वारा प्रदत्त नियमों, निर्देशों के क्रम में किये जाएं। मेडिकल लीव/बाल्य काल अवकाश /प्रसूति अवकाश ऑनलाइन अभिलेख अपलोड होने के उपरांत अनावश्यक रोक कर, शिक्षक-शिक्षिकाओं का अनावश्यक शोषण न किया जाए। लंबित पदोन्नति अतिशीघ की जाये। शासनादेशानुसार एमडीएम की जिम्मेवारी ग्राम प्रधान को दी गयी हैँ। अत: शिक्षकों को दोषी न ठहराया जाए। उपरोक्त समस्याओं का अति शीघ्र निस्तारण किया जाए अन्यथा की स्थिति में संगठन आंदोलन के लिए वाध्य हो जाएगा।इसकी समस्त जिम्मेवारी आपकी होगी। ज्ञापन में इन समस्याओं के निस्तारण की मांग उठायी। ज्ञापन देते समय अध्यक्ष मो.मुनीर, महामंत्री राजेश कुमार साध, कोषाध्यक्ष मनोज किलेदार, बाबूलाल वर्मा, बाबूसिंह राठौर, उर्वशी साहू, अनिल सिंह, संध्या वर्मा, विनीता निरंकारी, मोहम्मद जाकिर, गनेश नामदेव, शाहिद मंसूरी, भोगीराम, हरिराम वर्मा, विनोद कुमार आदि उपस्थित रहे।
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